0:00:00.000,0:00:03.000 मैं चाहती हुँ आप इस शिशु को देखें 0:00:03.000,0:00:06.000 आप इसकी आखों की ओर आकर्शित होते हैं 0:00:06.000,0:00:09.000 और यह त्वचा जिसे आप छूना चाहेंगे 0:00:09.000,0:00:12.000 पर आज मैं आप से बात करूँगी एसी चीज़ के बारे में जो दिखाई नहीं देती, 0:00:12.000,0:00:15.000 कि उसके नन्हें दिमाग में क्या चल रहा है. 0:00:16.000,0:00:18.000 मस्तिष्क विज्ञान के आधुनिक उपकर्ण 0:00:18.000,0:00:21.000 यह प्रदर्शित कर रहे हैं कि वहाँ ऊपर क्या चल रहा है 0:00:21.000,0:00:24.000 यह रॉकेट विज्ञान से कम नहीं है. 0:00:24.000,0:00:26.000 और जो हम सीख रहे हैं 0:00:26.000,0:00:28.000 कुछ प्रकाश डालेगा 0:00:28.000,0:00:31.000 उसपर जिसे रोमाँटिक लेखक और कवि 0:00:31.000,0:00:34.000 "दिव्य खुलापन" के रूप में वर्णित करते हैं 0:00:34.000,0:00:36.000 बच्चे के दिमाग के बारे में 0:00:36.000,0:00:38.000 हम यहाँ देख रहे हैं 0:00:38.000,0:00:40.000 भारत में एक माँ, 0:00:40.000,0:00:42.000 और वो कोरो में बात कर रही है 0:00:42.000,0:00:44.000 जो कि एक नई खोजी गई भाषा है 0:00:44.000,0:00:46.000 और वह अपने शिशु से बात कर रही है. 0:00:46.000,0:00:48.000 जो बात यह माँ - 0:00:48.000,0:00:51.000 और दुनिया भर में वो ८०० लोग जो कोरो बोलते हैं - 0:00:51.000,0:00:54.000 समझते हैं कि, इस भाषा को बचाने के लिए, 0:00:54.000,0:00:57.000 उन्हें इसे शिशुओं से बोलने की ज़रुरत है. 0:00:57.000,0:01:00.000 और उसमें एक महत्वपूर्ण पहेली है 0:01:00.000,0:01:02.000 एसा क्यों है कि आप किसी भाषा का संरक्षण नहीं कर सकते 0:01:02.000,0:01:05.000 उसे व्यस्कों से - आपसे और हमसे बोलकर? 0:01:05.000,0:01:08.000 दरअसल इसका संबंध आपके दिमाग से है. 0:01:08.000,0:01:10.000 जो हम यहाँ देख रहे हैं 0:01:10.000,0:01:13.000 वो यह है कि भाषा को सीखने के लिए एक विषेश समय होता है. 0:01:13.000,0:01:16.000 इस स्लाइड को पढ़ने का तरीका है कि आप अपनी उम्र को क्षैतिज अक्ष पर देखें. 0:01:16.000,0:01:19.000 (ठहाके) 0:01:19.000,0:01:21.000 और ह्म ऊर्ध्वाधर पर देखेंगे 0:01:21.000,0:01:23.000 दूसरी भाषा सीखने का हुनर. 0:01:23.000,0:01:25.000 शिशु और बच्चे प्रतिभाशाली होते हैं 0:01:25.000,0:01:27.000 जब तक वे सात साल के नहीं हो जाते, 0:01:27.000,0:01:30.000 और फिर वहाँ एक व्यवस्थित गिरावट है. 0:01:30.000,0:01:32.000 यौवन के बाद, हम नक्शे से बाहर हो जाते हैं. 0:01:32.000,0:01:35.000 कोई वैज्ञानिक इस वक्र से विवाद नहीं करते 0:01:35.000,0:01:37.000 लेकिन दुनिया भर कि प्रयोगशालाएं 0:01:37.000,0:01:40.000 यह पता लगाने की कोशिश कर रही हैं कि एसा क्यों होता है 0:01:40.000,0:01:42.000 मेरी प्रयोगशाला में काम केंद्रित है 0:01:42.000,0:01:44.000 विकास के पहले विशेष समय पर - 0:01:44.000,0:01:46.000 और ये वो समय है जिसमें 0:01:46.000,0:01:49.000 शिशु उन स्वरों में माहिरता हासिल करने की कोशिश करते हैं जो उनकी भाषा में प्रयोग होते हैं. 0:01:49.000,0:01:52.000 हमारे विचार में इस बात का अध्ययन करके कि स्वर कैसे सीखे जाते हैं, 0:01:52.000,0:01:54.000 हमारे पास बाकि भषा के लिए मापद्न्ड होगा. 0:01:54.000,0:01:57.000 और शायद बचपन के दौरान मह्त्वपूर्ण समय के लिए 0:01:57.000,0:01:59.000 सामाजिक, भावनात्मक 0:01:59.000,0:02:01.000 और संज्ञानात्मक विकास के लिए 0:02:01.000,0:02:03.000 तो हम उन शिशुओ का अध्ययन करते रहे हैं 0:02:03.000,0:02:05.000 दुनिया भर में एक तकनीक का इस्तेमाल करते हुए 0:02:05.000,0:02:07.000 और सभी भाषाओं के स्वरों का। 0:02:07.000,0:02:09.000 बच्चा अपने माता पिता की गोदी में बैठता है, 0:02:09.000,0:02:11.000 और हम उन्हें प्रशिक्षित करते हैं अपनेसर घुमाने के लिए जब भी कोई स्वर बदलता है - 0:02:11.000,0:02:13.000 जैसे "आह" से "ई" 0:02:13.000,0:02:15.000 अगर वे ऐसा उचित समय पर करते हैं, 0:02:15.000,0:02:17.000 तो काले बक्से की बत्ती जल जाती है 0:02:17.000,0:02:19.000 और एक पांडा भालू एक ढ़ोल पीटता है 0:02:19.000,0:02:21.000 एक छह महीने के शिशु को यह काम बहुत भाता है. 0:02:21.000,0:02:23.000 हमने क्या सीखा? 0:02:23.000,0:02:25.000 कि दुनिया भर के बच्चे 0:02:25.000,0:02:27.000 हैं जो मैं कहना पसंद करती हूँ 0:02:27.000,0:02:29.000 विश्व के नागरिक; 0:02:29.000,0:02:32.000 और वो सभी भाषाओं के सभी स्वरों में भेद कर सकते हैं, 0:02:32.000,0:02:35.000 चाहे हम किसी भी देश में परीक्षण कर रहे हों और कोई भी भाषा इस्तेमाल कर रहे हों. 0:02:35.000,0:02:38.000 औरी यह असाधार्ण है क्योंकि आप और मैं ये नहीं कर सकते. 0:02:38.000,0:02:40.000 हमारे सुनने की शक्ति संस्कृति से जुड़ी है. 0:02:40.000,0:02:42.000 हम अपनी भाषा के स्वर पहचान सकते हैं, 0:02:42.000,0:02:44.000 लेकिन विदेशी भाषाओं के नहीं. 0:02:44.000,0:02:46.000 तो सवाल यह उठता है, 0:02:46.000,0:02:48.000 ये विश्व के नागरिक कब 0:02:48.000,0:02:51.000 हम जैसे भाषा से बंधे सुनने वाले बन जाते हैं? 0:02:51.000,0:02:54.000 और जवाब : उनके पहले जन्मदिन से पहले. 0:02:54.000,0:02:57.000 आप यहाँ जो देख रहे हैं वो है सर घूमने वाले कार्य पे प्रदर्शन 0:02:57.000,0:02:59.000 टोक्यो और अमरीका में परखे गए शिशुओं के लिए, 0:02:59.000,0:03:01.000 यहाँ सियाट्ल में, 0:03:01.000,0:03:03.000 जैसे वो "रा" और "ला" को सुनते हैं -- 0:03:03.000,0:03:06.000 स्वर जो अँग्रेजीमें महत्वपूर्ण हैं, पर जापानी में नहीं. 0:03:06.000,0:03:09.000 तो छहसे आठ महीने तक बच्चे बिलकुल बराबरी पर हैं. 0:03:09.000,0:03:12.000 दो महीने बात एक विचित्र बात होती है. 0:03:12.000,0:03:14.000 अमरीका में बच्चे बेहतर होते जा रहे हैं, 0:03:14.000,0:03:16.000 और जापान में बदतर, 0:03:16.000,0:03:18.000 लेकिन शिशुओं के ये दोनों समूह 0:03:18.000,0:03:21.000 ठीक उसी भाषा की तैयारी कर रहे हैं जो वे सीखने जा रहे हैं. 0:03:21.000,0:03:24.000 तो सवाल यह है की क्या हो रहा है 0:03:24.000,0:03:26.000 इस दो महीने की विशेष अवधि में? 0:03:26.000,0:03:28.000 यह अवधि है स्वर विकास की, 0:03:28.000,0:03:30.000 लेकिन वहाँ ऊपर क्या हो रहा है? 0:03:30.000,0:03:32.000 तो दो चीज़ें हो रही हैं. 0:03:32.000,0:03:35.000 पहली यह की शिशु ध्यान से हमे सुन रहे हैं, 0:03:35.000,0:03:38.000 और हमें बात करते सुन कर गणनाकर रहे हैं -- 0:03:38.000,0:03:40.000 वो गणना कर रहे हैं. 0:03:40.000,0:03:43.000 तो सुनिए दो माताओं को माओंकी विशेष भाषा में बात करते हुए -- 0:03:43.000,0:03:46.000 वह सार्वलौकिक भाषा जो हम सब बच्चों से बात करते हुए इस्तेमाल करते हैं -- 0:03:46.000,0:03:49.000 पहले अँग्रेजी में और फिर जापानी में. 0:03:49.000,0:03:52.000 (वीडियो) अँग्रेजी माँ : आह, मुझे तुम्हारी बड़ी नीली आँखें बहुत प्यारी लगती हैं -- 0:03:52.000,0:03:55.000 कितनी सुंदर और अच्छी. 0:03:56.000,0:04:02.000 जापानी माँ : [जापानी] 0:04:02.000,0:04:04.000 पाइट्रिशिया कुहल : भाषा की उत्पत्ति में, 0:04:04.000,0:04:06.000 जबशिशु सुनते हैं, 0:04:06.000,0:04:08.000 तबदरअसल वो गणना कर रहे होते हैं 0:04:08.000,0:04:11.000 सुनाई देने वाली भाषा पर. 0:04:11.000,0:04:14.000 और ये वितरण बढ़ते रहते हैं. 0:04:14.000,0:04:16.000 और हमने यह सीखा है 0:04:16.000,0:04:19.000 कि बच्चे इन गाण्णा के बारे में संवेदनशील होते हैं, 0:04:19.000,0:04:22.000 और जापानी और अँग्रेजी के आंकड़े बहुत, बहुत अलग होते हैं. 0:04:22.000,0:04:25.000 अँग्रेजी में बहुत से र और ल होते हैं 0:04:25.000,0:04:27.000 वितरण यह दिखाता है. 0:04:27.000,0:04:29.000 और जापानी का वितरण बिलकुल अलग हैं, 0:04:29.000,0:04:32.000 जहां हम माध्यम स्वरों के झुंड देखते हैं, 0:04:32.000,0:04:35.000 जिसे जापानी र कहा जाता है. 0:04:35.000,0:04:37.000 तो बच्चे सोख लेते हैं 0:04:37.000,0:04:39.000 भाषा के आंकड़े 0:04:39.000,0:04:41.000 और यह उनके दिमाग को बदल देता है; 0:04:41.000,0:04:43.000 वह उन्हे विश्व के नागरिक से बदल देता है 0:04:43.000,0:04:46.000 हम जैसे संस्कृति से बंधे सुनने वालों में. 0:04:46.000,0:04:48.000 लेकिन व्यसको की तरह हम 0:04:48.000,0:04:50.000 अब उन आंकड़ों को सोख नहीं रहे. 0:04:50.000,0:04:53.000 हम अपनी यादों में उन अभ्यावेदन से बंधे हुए हैं 0:04:53.000,0:04:56.000 जो हमने प्रारम्भिक विकास में बनाए थे. 0:04:56.000,0:04:58.000 तो जो हम यहाँ देख रहे हैं 0:04:58.000,0:05:01.000 वह हमारे मॉडेल बदल रहा है इस बारे में कि महत्वपूर्ण अवधि क्या है. 0:05:01.000,0:05:04.000 हम गणित कि दृष्टि से इस बारे में बहस कर रहे हैं 0:05:04.000,0:05:07.000 कि भाषा सीखने कि प्रक्रिया धीरे हो जाती है 0:05:07.000,0:05:09.000 जब हमारा वितरण स्थिर हो जाता है. 0:05:09.000,0:05:12.000 यह द्विभाषिक लोगों के बारे में बहुत से प्रश्न खड़े कर रहा है. 0:05:12.000,0:05:16.000 द्विभाषीय लोगों को एक समय पर आंकड़ो के दो सेट दिमाग में रखने पड़ते हैं 0:05:16.000,0:05:19.000 और उनके बीच बदलते रहना पड़ता है, एक के बाद एक, 0:05:19.000,0:05:21.000 इस बात को देखते हुए कि वो किस से बात कर रहे हैं. 0:05:21.000,0:05:23.000 तो हमने अपने आप से पूछा, 0:05:23.000,0:05:26.000 क्या शिशु एक बिलकुल नयी भाषा के आंकड़े ले सकता है? 0:05:26.000,0:05:28.000 और हमने इसे परखा अमरीकी बच्चों को 0:05:28.000,0:05:30.000 जिन्हों ने कभी दूसरी भाषा नहीं सुनी थी 0:05:30.000,0:05:33.000 मंदारिन भाषा से परिचित कराया विशेष अवधि के दौरान. 0:05:33.000,0:05:35.000 हमे पता था कि जब एक भाषा बोलने वालों को परखा गया था 0:05:35.000,0:05:38.000 ताइपेई और सेयाट्ट्ल में मंदारिन भाषा के स्वरों पर, 0:05:38.000,0:05:40.000 तो उनहोने वही साँचा दिखाया. 0:05:40.000,0:05:42.000 6 - 8 महीने, वे बिलकुल बराबर होते हैं. 0:05:42.000,0:05:45.000 दो महीने बाद कुछ अजीब हो जाता है. 0:05:45.000,0:05:48.000 लेकिन ताईवानी बच्चे बेहतर हो रहे हैं, अमरीकी बच्चे नहीं 0:05:48.000,0:05:51.000 हमने इस दौरान अमरीकी बच्चों को इस दौरान अनुभव दिलाया 0:05:51.000,0:05:53.000 मंदारिन भाषा का 0:05:53.000,0:05:56.000 ये ऐसा था जैसे मदारिन रिश्तेदार एक महीने के लिए मिलने आए हों 0:05:56.000,0:05:58.000 और आप के घर में रहें 0:05:58.000,0:06:00.000 और 12 सेशन्स के लिए शिशुओं से बात करें. 0:06:00.000,0:06:02.000 और प्रयोगशाला में यह ऐसा दिखता है. 0:06:02.000,0:06:24.000 (विडियो) मंदारिन भाषी : [मंदारिन] 0:06:24.000,0:06:26.000 पी के : तो हमने इनके नन्हें दिमागों को क्या किया ? 0:06:26.000,0:06:29.000 (ठ्हाके) 0:06:29.000,0:06:31.000 हमें एक नियंत्रित समूह भी रखना पड़ा 0:06:31.000,0:06:33.000 यह यकीन करने के लिए की मात्र प्रयोगशाला में आने से 0:06:33.000,0:06:35.000 आपके मंदारिन के कौशल बेहतर नहीं हो जाते 0:06:35.000,0:06:37.000 तो शिशुओं का एक समूह आकर अँग्रेजी सुनतता था। 0:06:37.000,0:06:39.000 और हम रेखा चित्र से देख सकते हैं 0:06:39.000,0:06:41.000 की अँग्रेजी से संपर्क से उनकी मंदरीन भाषा सुधरी नहीं. 0:06:41.000,0:06:43.000 पर उन शिशुओं को देखिये क्या हुआ 0:06:43.000,0:06:45.000 जिनहे 12 सेशन के लिए मंदरीन से संपर्क कराया गया 0:06:45.000,0:06:47.000 वो ताइवान वाले शिशुओं जीतने अच्छे थे 0:06:47.000,0:06:50.000 जो इसे साढ़े दस महीने से सुन रहे थे. 0:06:50.000,0:06:52.000 इस बात नें यह दर्शाया 0:06:52.000,0:06:54.000 की शिशु नयी भाषा के आंकड़े लेते हैं. 0:06:54.000,0:06:58.000 आप जो भी उनके सामने रखें, वो उनपर आंकड़े लेंगे. 0:06:58.000,0:07:00.000 पर हम विचार कर रहे थे की क्या भूमिका होती है 0:07:00.000,0:07:02.000 इन्सानों की 0:07:02.000,0:07:04.000 इस सिखलाई की कवायद में. 0:07:04.000,0:07:06.000 तो हमने बच्चों के एक और समूह पर प्रयोग किया 0:07:06.000,0:07:09.000 जिसमे बच्चों को वही खुराक मिली, वही 12 सेशन, 0:07:09.000,0:07:11.000 लेकिन टीवी के ज़रिये 0:07:11.000,0:07:14.000 और एक और समूह जिनको सिर्फ आवाज़ सुनाई गयी 0:07:14.000,0:07:16.000 परदे पर टेडी बीयर देखते हुए. 0:07:16.000,0:07:19.000 और हमने उनके दिमाग के साथ क्या किया? 0:07:19.000,0:07:22.000 आप यहाँ देख रहें हैं परिणाम के स्वर - 0:07:22.000,0:07:24.000 बिलकुल कोई सिखलाई नहीं - 0:07:24.000,0:07:27.000 और वीडियो परिणाम - 0:07:27.000,0:07:29.000 कोई सिखलाई नहीं. 0:07:29.000,0:07:31.000 सिर्फ इन्सानों से ही 0:07:31.000,0:07:33.000 बच्चे अपने आंकड़े लेते हैं. 0:07:33.000,0:07:35.000 सामाजिक दिमाग नियंत्रण करता है 0:07:35.000,0:07:37.000 जब बच्चे अपने आंकड़े ले रहे होते हैं. 0:07:37.000,0:07:39.000 हम उनके दिमाग के अंदर घुस कर 0:07:39.000,0:07:41.000 यह होते हुए देखना चाहते हैं 0:07:41.000,0:07:43.000 जब बच्चे टीवी के सामने होते हैं, 0:07:43.000,0:07:45.000 बजाए इसके की इन्सानों के सामने. 0:07:45.000,0:07:47.000 शुक्र है हमारे पास एक नया यंत्र है, 0:07:47.000,0:07:49.000 मग्नेटोएंकेफलोग्राफी, 0:07:49.000,0:07:51.000 जो हमें यह करने देता है. 0:07:51.000,0:07:53.000 यह मंगल ग्रह से आया बाल सुखाने वाला यंत्र लगता है. 0:07:53.000,0:07:55.000 लेकिन यह बिलकुल सुरक्षित है, 0:07:55.000,0:07:58.000 बिलकुल शांत और गैर भेदी. 0:07:58.000,0:08:00.000 और हम मिलिमीटर शुद्धता की बात कर रहे हैं 0:08:00.000,0:08:02.000 स्पेसिय और 0:08:02.000,0:08:04.000 मिलीसेकंड शुद्धता के बारे में 0:08:04.000,0:08:06.000 306 स्कूइड्स का प्रयोग करते हुए - 0:08:06.000,0:08:08.000 ये सुपर क्ंड्क्टिंग 0:08:08.000,0:08:10.000 क्वांटम इंटरफ़ेस यंत्र होते हैं - 0:08:10.000,0:08:12.000 चुंबकीय संकेत पकड़ने के लिए 0:08:12.000,0:08:14.000 जो हमारे सोचते हुए बदल जाते हैं. 0:08:14.000,0:08:16.000 हमने विश्व में पहल करी है 0:08:16.000,0:08:18.000 शिशुओं को रिकार्ड करने में 0:08:18.000,0:08:20.000 एम ई जी यंत्र के द्वारा 0:08:20.000,0:08:22.000 जब वो सीख रहे होते हैं. 0:08:22.000,0:08:24.000 तो यह नन्ही एम्मा है. 0:08:24.000,0:08:26.000 ये छह महीने की है. 0:08:26.000,0:08:28.000 और ये अलग भाषाओं को सुन रही है 0:08:28.000,0:08:31.000 उसके कानों में लगे इयरफोन से. 0:08:31.000,0:08:33.000 आप देख सकते हैं, वो चल फिर सकती है. 0:08:33.000,0:08:35.000 हम उसके सिर पर नजर रख रहे हैं 0:08:35.000,0:08:37.000 एक टोपी के अंदर छोटे छोटे छर्रों की सहायता से, 0:08:37.000,0:08:40.000 तो वो स्वेछा से पूरी तरह से हिलने के काबिल है. 0:08:40.000,0:08:42.000 यह तकनीकी शक्ति का प्रदर्शन है. 0:08:42.000,0:08:44.000 हम क्या देख रहे हैं? 0:08:44.000,0:08:46.000 हम शिशु का दिमाग देख रहे हैं. 0:08:46.000,0:08:49.000 जैसे ही शिशु अपनी भाषा का स्वर सुनती है 0:08:49.000,0:08:51.000 तो स्वरों वाला हिस्से में प्रकाश हो जाता है, 0:08:51.000,0:08:53.000 और फिर उसके आस पास वाले हिस्सों में 0:08:53.000,0:08:56.000 जो हम सोचते हैं अनुकूलता से संबन्धित है, 0:08:56.000,0:08:58.000 दिमाग के अलग भागों को समन्वित करना, 0:08:58.000,0:09:00.000 और करणीय संबंध 0:09:00.000,0:09:03.000 दिमाग का एक हिस्सा दूसरे को सक्रिय करता है. 0:09:03.000,0:09:05.000 हम चल पड़े हैं 0:09:05.000,0:09:08.000 एक महान और स्वरणीय युग की ओर 0:09:08.000,0:09:11.000 ज्ञान और बच्चों के दिमाग के विकास के बारे में. 0:09:11.000,0:09:13.000 हम बच्चे के दिमाग को देख पाएंगे 0:09:13.000,0:09:15.000 जैसे वे किसी भावना का अनुभव कर रहे होंगे, 0:09:15.000,0:09:17.000 जब वो पढ़ना लिखना सीख रहे हों, 0:09:17.000,0:09:19.000 जैसे वो गणित का सवाल हल कर रहे हों, 0:09:19.000,0:09:21.000 जैसे उन्हे कोई विचार आए. 0:09:21.000,0:09:24.000 और हम दिमाग पे आधारित हस्तक्षेपों का आविष्कार कर सकेंगे 0:09:24.000,0:09:27.000 उन बच्चों के लिए जिनहे सीखने मे मुश्किल होती है. 0:09:27.000,0:09:30.000 जैसे कवियों और लेखकों ने वर्णन किया है, 0:09:30.000,0:09:32.000 मैं सोचता हूँ हम देख पाएंगे, 0:09:32.000,0:09:34.000 वह शानदार खुलापन 0:09:34.000,0:09:36.000 निरी और पूरी तरह खुलापन 0:09:36.000,0:09:39.000 बच्चे के दिमाग का. 0:09:39.000,0:09:41.000 बच्चों के दिमाग के बारे में छानबीन करते हुए, 0:09:41.000,0:09:43.000 हम गहरी सच्चाईयों को खोल पाएंगे 0:09:43.000,0:09:45.000 इस बारे में कि इंसान होने का मतलब क्या है, 0:09:45.000,0:09:47.000 और इस दौरान, 0:09:47.000,0:09:49.000 हो सकता है हम अपने दिमागोंको सीखने के लिए खुला रख पाएँ 0:09:49.000,0:09:51.000 अपनी पूरी ज़िंदगी. 0:09:51.000,0:09:53.000 धन्यवाद. 0:09:53.000,0:09:56.000 (तालियाँ)