जब आप अपने कोड को लूप करने
के लिए एक रिपीट ब्लॉक का इस्तेमाल करते है।
कैसे कम्प्युटर को पता चलता है की
यह पर्याप्त बार दोहराया गया है?
रिपीट ब्लॉक अपने अंदर एक
ज़ायदा जटिल कोड को छुपाये हुए हैं
जिसे फॉर लूप कहते है।
जो एक निश्चित वैल्यू से गिनती शुरू करता
है और एक समाप्ती वैल्यू पे रुकता है,
और एक निश्चित बढ़ोतरी के साथ।
उदाहरण के लिए, रिपीट 3 ब्लॉक,
आता है एक से तीन तक, एक जोड़ के,
जितने बार यह गिनता है, उतनी बार वो
कोड को लूप के अंदर चलाता है।
काउंटर वारियाबल का उपयोग करके
फॉर लूप को पता होता है कितनी बार रन हुआ है
लूप के शुरुआत में स्टार्टिंग वैल्यू देना
जिसमें एक इंक्रीमेंट जोड़ा
गया है जितनी बार लूप चलेगा।
जैसे ही काउंटर वेरिएबल एंडिंग वैल्यू के
समान हो जाता है, लूप वहीं पर रुक जाता है।
एक रिपीट ब्लॉक की जगह असल फॉर
लूप के इस्तेमाल का लाभ यह है
की आप सही में काउंटर वारियाबल को देख
पाएंगे और अपने लूप में उपयोग कर पाएंगे।